नई दिल्ली. पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पर पेंसिल्वेनिया में एक रैली के दौरान हुए जानलेवा हमले के बाद रक्षा विशेषज्ञ कमर आगा और जे.के. बंसल ने घटना की निंदा करते हुए अमेरिका के ‘गन कल्चर’ पर चिंता व्यक्त की है. कमर आगा ने कहा कि अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति पर जानलेवा हमला बेहद दुःखद है. वह भारत के अच्छे मित्र हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से उनके संबंध अच्छे हैं. पीएम मोदी ट्रंप को अपना मित्र बताते थे. उन्होंने कहा कि अमेरिका में पहले भी बड़े नेताओं पर जानलेवा हमले किए गए हैं. जॉन एफ. केनेडी की हत्या तक कर दी गई थी.
उन्होंने कहा कि अमेरिका में बंदूक की संस्कृति या ‘गन कल्चर’ बहुत गहरा चुका है, जो चिंता का विषय है. वहां बहुत सारे ऐसे हथियार हैं जिसे कोई भी खरीद सकता है. ऐसे हथियार जो सेना इस्तेमाल करती है. हमने अक्सर देखा है कि वहां के नौजवान स्कूलों में गोलीबारी कर देते हैं. अमेरिका की स्थिति बेहद खतरनाक है. हमलावर का क्या उद्देश्य था? यह अभी पता नहीं है. उन्होंने आगे कहा कि अमेरिका में आर्थिक संकट चल रहा है. महंगाई बढ़ गई है. आंशिक बेरोजगारी की समस्या है. पहले अमेरिका में मध्यम वर्गीय समाज होता था. हर कामकाजी व्यक्ति की आय लगभग बराबर होती थी, जो अब नहीं है.
ट्रंप की सुरक्षा के सवाल पर कमर आगा ने कहा इस तरह की घटना के बाद सुरक्षा पर सवाल जरूर उठेंगे. सुरक्षा देने का निर्णय राष्ट्रपति के नियंत्रण में नहीं होता है. यह निर्णय एफबीआई करता है कि किसे कितनी सुरक्षा देनी है. वहां निजी सुरक्षाकर्मी भी होते हैं, लेकिन यह सोचने का विषय है कि हमलावर ट्रंप से महज 100 मीटर की दूरी तक कैसे पहुंच गया. इसका खुलासा जांच के बाद ही हो पाएगा, लेकिन अगर कोई बड़ा हादसा हो जाता तो अमेरिका में हिंसा फैल जाती.
उन्होंने कहा कि अमेरिका का लोकतंत्र भारत से अलग है. उनके यहां चुनाव प्रचार अलग तरीके से होता है. भारत में जैसे चुनाव रैलियां होती हैं, वैसे वहां नहीं होतीं. ट्रंप की घटना की कवरेज को अमेरिकी मीडिया में प्रमुखता से न दिखाए जाने के सवाल पर उन्होंने कहा कि अभी यह देखा जा रहा है कि अमेरिका में मुख्यधारा का मीडिया नियंत्रित हो गया है. बड़े उद्योगों के हितों को देखते हुए वहां का मीडिया नियंत्रित हो गया है. यही वजह है कि वहां पर सोशल मीडिया बहुत ज्यादा मजबूत हो गया है, जिससे कुछ भी छुपाना बहुत मुश्किल होता है. इसे नियंत्रित करना अमेरिकी सरकार के लिए संभव नहीं है.